Shri Ram Brother In Law: पौराणिक कथा में जानें कौन थे श्री राम के जीजा जी
उत्तर रामायण में श्री राम की बहन शांता देवी के बारे में उल्लेख मिलता है। उत्तर रामायण के अनुसार, श्री राम के जन्म से पहले माता कौशल्या ने एक पुत्री को जन्म दिया था जिसका नाम शांता था लेकिन उस पुत्री को कन्या होने के कारण माहाराज दशरथ ने एक ऋषि को गोद दे दिया था। उन्हीं ऋषि ने श्री राम की बहन शांता देवी का विवाह कराया था।
पौराणिक कथा के अनुसार, एक बार महाराज दशरथ ने अपने मंत्री सुमंत की सलाह पर कुलीन ऋषियों को पुत्रकामेष्टि यज्ञ में शामिल होने के लिए आमंत्रित किया। महाराज दशरथ ने ऋषि श्रृंग को खासतौर पर आमंत्रित किया और समारोह में आने के लिए कहा। ऋषि श्रृंग एक महान ऋषि थे। वह जहां भी पैर रखते थे वहां समय पर बारिश, शांति, और समृद्धि रहती थी, वहां लोग आनंद में रहते थे।
ऐसे में जब सुमंत ने ऋषि श्रृंग के पास जाकर उन्हें यह यज्ञ में आने का निमंत्रण दिया तो ऋषि श्रृंग ने यह शर्त रखी कि वह अपनी पत्नी के साथ आएंगे। सुमंत ने यह शर्त मान ली और जब समय आया तब ऋषि श्रृंग अपनी पत्नी समेत अयोध्या पहुंचे
ऋषि पत्नी होने के बाद भी उन्होंने महाराज दशरथ और माता कौशल्या के चरण स्पर्श किये जिसे देख सब हैरान हो गए कि ऋषि पत्नी कैसे किसी के चरण छू सकती हैं।
ऋषि श्रृंग की पत्नी अयोध्या में जहां-जहां जाती वहां-वहां सूखा गायब होता चला जाता और समृद्धि आने लगती। तब राजा दशरथ और माता कौशल्या ने ऋषि श्रृंग की पत्नी से उनका परिचय लिया किआखिर वो कौन हैं तब उन्होंने बताया कि वह शांता है जिसे महाराज दशरथ और माता कौशल्या ने बचपन में एक ऋषि को गोद दे दिया था। तो इस प्रकार श्री राम की बहन शांता का विवाह ऋषि श्रृंग से हुआ था जो श्री राम के जीजा जी कहलाए।
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